करवा चौथ व्रत पर इस विधि से मिलेगा सौ गुना फल
करवा चौथ व्रत की यह है सबसे सही और सरल विधि…मिलेगा 100 गुना फल
आज हम आपको बताने जा रहे है करवा चौथ के व्रत और पूजन की उत्तम विधि। अगर आप इस विधि से व्रत करती हैं, तो आपको व्रत का 100 गुना फल मिलेगा।
सूर्योदय से पहले स्नान करके व्रत रखने का संकल्प लें।
फिर मिठाई, फल, सेंवई और पूड़ी की सरगी ग्रहण कर व्रत शुरू करें।
संपूर्ण शिव परिवार और श्रीकृष्ण की स्थापना करें।
गणेश जी को पीले फूलों की माला, लड्डू और केले चढ़ाएं।
भगवान शिव और पार्वती को बेलपत्र और श्रृंगार की वस्तुएं अर्पित करें।
श्रीकृष्ण को माखन–मिश्री और पेड़े का भोग लगाएं।
उनके सामने मोगरा या चन्दन की अगरबत्ती और घी का दीपक जलाएं।
मिटटी के कर्वे पर रोली से स्वस्तिक बनाएं।
कर्वे में दूध, जल और गुलाब जल मिलाकर रखें और रात को छलनी के प्रयोग से चंद्र दर्शन करें और चन्द्रमा को अर्घ्य दें।
इस दिन महिलाएं सोलह श्रृंगार जरूर करें, इससे सौंदर्य बढ़ता है।
इस दिन करवा चौथ की कथा कहनी या फिर सुननी चाहिए।
कथा सुनने के बाद अपने घर के सभी बड़ों का चरण स्पर्श करना चाहिए।
पति की दीर्घायु की कामना कर पढ़ें यह मंत्र : –
‘नमस्त्यै शिवायै शर्वाण्यै सौभाग्यं संतति शुभा। प्रयच्छ भक्तियुक्तानां नारीणां हरवल्लभे।‘
करवे पर 13 बिंदी रखें और गेहूं या चावल के 13 दाने हाथ में लेकर करवा चौथ की कथा कहें या सुनें। कथा सुनने के बाद करवे पर हाथ घुमाकर अपनी सासुजी के पैर छूकर आशीर्वाद लें और करवा उन्हें दे दें। 13 दाने गेहूं के और पानी का लोटा या टोंटीदार करवा अलग रख लें।